दुर्ग पुलिस ने भिलाई नगर निगम के वार्ड 34 के पार्षद संतोष नाथ सिंह उर्फ जलंधर को ठगी के मामले में गिरफ्तार किया है। जलंधर ने वार्ड 33 की पार्षद एन शैलजा राजू के पति एन धनराजू के साथ मिलकर करोड़ों की सरकारी जमीन फर्जी दस्तावेजों के जरिए बेच दी।
कैसे हुआ घोटाले का खुलासा?
जलंधर लंबे समय से फरार था। उसने तहसीलदार की शिकायत पर अग्रिम जमानत ले ली थी, लेकिन उसे यह नहीं पता था कि देवनाथ गुप्ता ने भी उसके खिलाफ मामला दर्ज कराया है। वैशाली नगर पुलिस ने प्लान-बी तैयार किया और सोमवार को पूछताछ के बहाने जलंधर को थाने बुलाया। वहीं से उसे गिरफ्तार कर शाम को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।
कैसे किया करोड़ों का घोटाला?
जांच में पता चला कि जलंधर और एन धनराजू ने राजनांदगांव के कुछ लोगों के साथ मिलकर बाबा दीपसिंह नगर की सरकारी जमीन पर फर्जीवाड़ा किया। उन्होंने –
फर्जी गवाह बनाए
नकली ऋण पुस्तिका तैयार की
जाली पॉवर ऑफ अटर्नी बनाकर जमीन बेच दी
इस घोटाले का खुलासा होते ही एडिशनल कलेक्टर क्षमा यदु ने इनके खिलाफ मामला दर्ज कराया।
पुलिस ने क्या बरामद किया?
पुलिस जांच में जलंधर और उसके साथियों के पास से –
कंप्यूटर सिस्टम
कलर प्रिंटर
3 मोबाइल फोन
आधार कार्ड
2 फर्जी ऋण पुस्तिकाएं
अन्य फर्जी दस्तावेज जब्त किए गए हैं।
जलंधर का आपराधिक इतिहास
यह पहली बार नहीं है जब जलंधर जेल गया है। वह छावनी थाने का निगरानी बदमाश है और इससे पहले भी कई मामलों में जेल जा चुका है।