Mathura news: यूपी के मथुरा से दिल दहला देने वाला मंजर सामने आया है. जहां संपत्ति के लालच में सगी बेटियां ही इतनी निर्दयी और क्रूर बन गई,की 8 घंटों तक अपनी मां की चिता को जलने ही नहीं दिया.
श्मशान घाट पर ही मां की मौत पर कलियुगी बेटियों का हाईवोल्टेज ड्रामा चलता रहा. मां का शव चिता पर पड़ा था उसी के सामने निर्दयी बेटियां जायदाद के लिए लड़ती रही।
दरअसल, उस 90 वर्षीय बुजुर्ग मृतक महिला का नाम पुष्पा देवी था.जो की नगला छीता गांव की निवासी थी. काफी पहले ही उनके पति गिर्राज प्रसाद की मौत हो चुकी है.
पुष्पा का कोई बेटा नहीं है, सिर्फ 3 बेटियां हैं. और सभी की शादी हो चुकी है. जिसमे से एक बेटी के पति भी दुनिया में नहीं है जबकि दूसरी बेटी आर्थिक तंगी से जूझ रही है. वर्तमान समय में पुष्पा अपनी तीसरी बेटी मिथिलेश के घर जमुना पार इलाके में रह रही थी.
क्या था ये पूरा मामला?
रविवार के दिन सुबह के करीब 10:30 बजे लंबी बीमारी की वजह से पुष्पा की मौत हो गई. जिसके बाद उन्हें अंतिम संस्कार के लिए मथुरा के मोक्ष धाम ले जाया गया.
दो बेटियां राशि और सुनीता अपनी मां के निधन की खबर सुन शमशान पहुंच गई और हंगामा मचा दिया.
दरअसल, मृतक पुष्पा देवी के नाम पर 3 बीघा खेत था. जिसमें से डेढ़ बीघा उन्होंने पहले ही बेच दिया था.जिसकी वजह से अपनी तीसरी बहन मिथलेश पर दोनों बहनों ने ये आरोप लगाया कि उनके बहकावे में ही उनकी मां पुष्पा ने उस जमीन को बेच दी थी और सारा पैसा खुद रखा.
इसके बाद दोनों बहने भी जमीन में से अपने हिस्से की मांग करने लगी और इसी विवाद में उन्होंने अपनी मां की चिता को करीब 8 घंटे तक जलने ही नहीं दिया।
लिखित समझौता से मामला हुआ शांत
जो पंडित अंतिम संस्कार की विधि कराने श्मशान घाट पहुंचे थे वे भी घाट से लौट गए. करीब 8 घंटे पश्चात जब स्टांप पर जमीन का लिखित बंटवारा हुआ, तब अंतिम संस्कार का कार्य संपन्न हुआ. अंतिम यात्रा में पहुंचे रिश्तेदार और पड़ोसी भी इससे परेशान हो गए.